स्वराज ट्रैक्टर का नाम सुनते ही मन में मजबूती, भरोसा और परिश्रम की छवियां उभर आती हैं। यह कंपनी भारतीय कृषि जगत की एक ऐसी धरोहर है, जिसने देश के किसानों का साथ दिया है और उन्हें आत्मनिर्भर बनाने में अहम भूमिका निभाई है। स्वराज ट्रैक्टर की कहानी 1960 के दशक में हरित क्रांति के समय शुरू होती है। उस समय देश को कृषि क्षेत्र में आत्मनिर्भर बनाने की आवश्यकता महसूस हुई। इसी उद्देश्य से भारत सरकार ने 1965 में केंद्रीय मैकेनिकल इंजीनियरिंग रिसर्च इंस्टीट्यूट (सीएमईआरआई) को देश का पहला स्वदेशी ट्रैक्टर बनाने का बीड़ा उठाया। कई प्रतिरूपों के परीक्षण के बाद, 1969 में पहला "स्वदेशी" 20 हॉर्सपावर का ट्रैक्टर तैयार हुआ। 1974 में, इस कंपनी से पहला स्वराज ट्रैक्टर मॉडल, 26.5 हॉर्सपावर का शक्तिशाली स्वराज 724, उत्पादन लाइन से निकला। आज स्वराज ट्रैक्टर भारत की दूसरी सबसे बड़ी ट्रैक्टर निर्माता कंपनी है। जहाँ हर साल हजारों ट्रैक्टरों का निर्माण किया जाता है। हालांकि कंपनी अपनी निर्माण क्षमता का सार्वजनिक रूप से खुलासा नहीं करती है, लेकिन यह अनुमान लगाया जाता है कि यह प्रति वर्ष 50,000 से अधिक ट्रैक्टर बनाने में सक्षम है। कंपनी 15Hp से 65Hp ट्रैक्टरों का निर्माण करती है।