ऑटोमोबाइल्स क्षेत्र में अग्रणी स्थान रखने वाली Force Motors अपने एग्रीकल्चर ट्रैक्टर और इससे जुड़े कारोबार को बंद करने की घोषणा कर दी है। कंपनी ने 31 मार्च (रविवार) को ट्रैक्टर कारोबार को पूर्ण रूप से बंद कर दिया है।
कंपनी का कहना है, कि वो सोची-समझी रणनीति के अंतर्गत ट्रैक्टर और इससे जुड़े कारोबार को बंद कर रही है। इसके बाद कंपनी अपने कोर सेगमेंट के कारोबार पर ज्यादा जोर देगी।
फ़ोर्स मोटर्स का कहना है, कि प्रोडक्ट रेशनलाइजेशन प्रोग्राम के तहत केवल Share Mobility Transporation, Last Mile Mobility, गुड्स एंड ट्रांसपोर्टेशन जैसे कोर सेगमेंट पर ध्यान केंद्रित करेगी।
ये कंपनी प्रीमियम लग्जरी OEM और सिविल और डिफेंस में इस्तेमाल होने वाले स्पेशल व्हीकल बनाने का भी कार्य करती है। परंतु, अब कंपनी अपने ट्रैक्टर कारोबार से पूर्णतय बाहर निकल रही है।
फ़ोर्स मोटर्स ने एक्सचेंज फाइलिंग में कहा कि उनकी कंपनी मल्टी-सीटर पैसेंजर वाहन और Gurkha SUV बनाने के लिए पहचानी जाती है। इसके अलावा भारत में BMW और मर्सीडीज जैसी लग्जरी कंपनियों के लिए इंजन भी बनाती है।
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व्यावसायिक वर्ष 2023 की वार्षिक रिपोर्ट के अनुसार, Force Motors की कमाई का लगभग 48% भाग वाहन की बिक्री से आता है। वहीं, 36% फीसद हिस्सा कॉन्ट्रैक्ट इंजन मैन्युफैक्चरिंग से आता है।
31 मार्च 2024 तक ट्रैक्टर बिक्री से इस कंपनी की कुल आय ₹182.53 करोड़ रही, जोकि कंपनी की कुल आय में करीब 3.6% ही है। ट्रैक्टर कारोबार से जुड़े कुल एसेट्स की कीमत तकरीबन ₹12.29 करोड़ है।
फोर्स मोटर्स की तरफ से ट्रैक्टर कारोबार बंद करने का यह निर्णय एक ऐसे वक्त पर आया है। जब ट्रैक्टर बिक्री के आंकड़ों पर दबाव देखने को मिल रहा है।
भारत की सबसे बड़ी ट्रैक्टर निर्माता कंपनी Mahinda & Mahindra ने पिछले माह ही कारोबारी साल 2024 में घरेलू बाजार में ट्रैक्टर के बिक्री अनुमान में कटौती की थी।
कंपनी ने इसके पीछे वजह बताते हुए कहा कि ग्रामीण अर्थव्यवस्था में फिलहाल कमजोरी की वजह से ट्रैक्टर बिक्री आंकड़ों पर दबाव देखने को मिल रहा है।